Uttar Purav Se Jude Vastu Vichar
Uttar Purav Ka Mahatav
जैसे कि नाम से ही पता लगता है ईशान यानी ईश्वर का स्थान । इसी लिए घर परिवार पर ईश्वर कृपा के लिए इस स्थान को स्वच्छ रखा जाता है, यहां वास्तु के अनुसार पूजा घर होना चाहिए । जबकि इस स्थान पर कचरा होना, टॉयलेट होना वास्तु दोष होता है और ईश्वर कृपा की कमी होती है । इस दिशा से संबंधित अन्य शुभा शुभ विचार
- नवग्रहों में बृहस्पति ग्रह का संबंध इस दिशा से है , और बृहस्पति ग्रह ही जीव कारक हैं, वृद्धि के कारक हैं , संतान प्राप्ति में सहायक हैं , जीवन को सही दिशा देते हुए घर परिवार की तरक्की में सहायक हैं । इसी लिए इस स्थान में इसी ग्रह से संबंधित क्रियाएं की जाती हैं , जिस में पूजा उपासना , अध्ययन शामिल हैं ।
- इस स्थान का महत्व इसी से पता चलता है कि कुण्डली के दूसरे भाव का संबंध इस दिशा से होता है । और कुण्डली का दूसरा भाव धन का संग्रह स्थान है , परिवार का सुख है , समय के अनुसार खुद के रहन सहन और विचारों में बदलाव लाने का है । इसी लिए जिस घर परिवार में ईशान कोण पीड़ित होता है , उस घर के सदस्य रूढ़िवादी हो जाते हैं , पुराने ख्यालात से जुड़े रहते हैं , जिस के कारण समाज मे इन्हें उचित सम्मान नहीं मिल पाता ।
- यदि किसी की कुण्डली के दूसरे भाव मे पाप ग्रह ( शनि, राहु, केतु ) हो , लेकिन उस घर मे ईशान कोण को वास्तु अनुसार व्यवस्थित रखा जाए, तो दूसरे भाव मे स्थित अशुभ ग्रहों का प्रभाव काफी हद तक कम किया जा सकता है । लेकिन क्योंकि ग्रह ही पापी होने से प्रभावी हो जाते हैं, इस लिए घर के सदस्य ही वास्तु अनुसार बदलाव करने में असमर्थता दिखाने लगते हैं , जिसकी वजह से ज्योतिष के बाकी उपाये करने पर भी उनको फल नहीं मिलते ।
- घर से बाहर जाने वाला पानी इस दिशा से बाहर जाना शुभता देता है , ऐसे घर परिवार पर लक्ष्मी कृपा हमेशा बनी रहती है । इस के इलावा चाहे रसोई घर हो या वाशरूम हो वहाँ भी जल की व्यवस्था , या फर्श की ढलान ईशान की तरफ होनी चाहिए ।
- घर की इस दिशा को हमेशा खुला और साफ रखना चाहिए , सुख समृद्धि के लिए ताँबे के बर्तन में साफ पानी लेकर इस दिशा में रख सकते हैं , इस से भी परिवार की तरक्की के रास्ते बनते हैं ।
- जबकि इस दिशा में टॉयलेट होना, सीढ़ीयां होना , भारी सामान होना , स्टोर रूम होना , रसोई घर होना बहुत बुरे परिणाम देता है , ऐसे घर परिवार में बच्चों के भविष्य को लेकर हमेशा चिंता और तनाव की स्थिति बनी रहती है ।
- जबकि bedroom में भी ईशान कोण में भी शयन नहीं करना चाहिए , बल्कि ईशान कोण में सुंदर जल वाले चित्र या फिर सुंदर पक्षी जोड़े के चित्र लगाए जा सकते हैं ।
- इस दिशा में सुबह और शाम को मधुर संगीत भी लगाना चाहिए , इस दिशा की और मुख करके अपने इष्ट देवता की पूजा आराधना भी करना शुभकारी फल देता है । बच्चे अपनी किताबें इस दिशा में रख सकते हैं ।
- ऐसे बच्चे जिनकी उम्र 16 वर्ष से कम हो उनको रूम में ईशान कोण में सुला सकते हैं , ऐसा करने से उन पर बुध और गुरु दोनो ग्रहो का संयुक्त सकारात्मक प्रभाव आता है, इस से उनका शारीरिक और मानसिक विकास अच्छा होता है ।
- इस दिशा में सफेद, क्रीम और हल्का पीला रंग शुभता देता है, जबकि तुलसी, निम्बू , नीम , केले का पेड़, आँवले का पेड़ इस दिशा में वास्तु अनुकूल होता है । अगर इस दिशा में टॉयलेट बना हो तो बाहर की तरह शीश लगा देने से वास्तु दोष का लरभाव काफी हद तक कम हो जाता है ।
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